शासकीय उचित मूल्य दुकान में तौल से लेकर पास मशीन संचालन तक कार्य पुरुष कर रहे हैं।
मालखरौदा / शासन ने अधिकांश शासकीय उचित मूल्य दुकानों के संचालन का जवाबदारी महिला स्व सहायता समूह को दिया है साथ ही तौल से लेकर एंट्री तक का कार्य महिला स्व सहायता समूह के सदस्यों को ही करना है ब्लाक अंतर्गत आने वाले ग्राम पंचायत लिमगाव में शासकीय उचित मूल्य के दुकान का संचालन महिला स्व सहायता समूह द्वारा किया जा रहा है किंतु देखने में आ रहा है कि राशन वितरण से लेकर सभी कार्य महिला स्व सहायता समूह के सदस्यों के द्वारा करने की बजाय पुरुषों द्वारा तौल से लेकर लिखा पढ़ी तक का कार्य किया जा रहा है इस प्रकार महिला सशक्तिकरण की यहां धज्जियां उड़ रहा है जबकि हर वर्ष महिलाओं को आगे बढ़ाने के लिए 8 मार्च को महिला सशक्तिकरण दिवस का आयोजन किया जाता है ,राशन दुकान का संचालन करने के लिए आवेदन देते समय तो महिला समूह के द्वारा सभी कार्य स्वयं करने की बात कहते हैं लेकिन जमीनी स्तर पर देखने से पता चल रहा है कि केवल महिला समूह नाममात्र कर रह गया है उनका समूह कागजों में समूह चल रहा है सभी कार्य पुरुषों द्वारा ही आज भी किया जा रहा है जबकि समूह को संचालित करते हुए 5 वर्ष से अधिक हो गए हैं ग्रामीणों का कहना है कि इस प्रकार से महिला समूह जो कि स्वयं कार्य नहीं करते उन्हें हटाना चाहिए व उनकी जगह जो महिलाएं कार्य करें उन्हीं को ही देना चाहिए ताकि महिलाओं के अधिकारों का हनन ना हो क्योंकि कार्य आदेश जारी करते इस समय अनुविभागीय अधिकारी कार्यालय से स्पष्ट लिखित में निर्देश है कि सभी कार्य महिला समूह को ही करना है बावजूद उनके द्वारा यह कार्य नहीं किया जा रहा है ऐसे में उच्च अधिकारियों को महिलाओं के अधिकारों की रक्षा के लिए समय-समय पर जांच करके ऐसे महिला समूह को हटाया जाना चाहिए और उनके स्थान पर नए समूह को कार्य दिया जाना चाहिए।
↪️एसडीएम शक्ति रैना जमील अगर महिला समूह के सदस्यों की जगह पुरुष कार्य कर रहे हैं तो इस बारे में जानकारी लेकर नियमानुसार कार्यवाही किया जाएगा।↩️
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